वर्चुअल मेमोरी क्या है | Virtual Memory in hindi

Virtual Memory in hindi – चलिए दोस्तों आज हम सीखेंगे virtual memory क्या हैं उसके उपयोग, फायदे ,ऑपरेटिंग सिस्टम में इसका महत्त्व तो जानते है इस पोस्ट के जरिये।

सबसे पहले हम देखेंगे virtual memory का परिचय

वर्चुअल मेमोरी का परिचय | Introduction of Virtual Memory in Operating System in Hindi

वर्चुअल मेमोरी एक प्रकार की मैनेजमेंट डिवाइस है जो सेकेंडरी मेमोरी का एक भाग है होने के कारन उसका इस्तेमाल कर सकते है.वर्चुअल मेमोरी कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम में इस्तेमाल होने वाला एक यंत्र हैं.

visual memory meaning in hindi

वर्चुअल मेमोरी वह मेमोरी है जो डिस्क जैसे भौतिक मेमोरी उपकरणों से उत्पन्न होती है जब मुख्य मेमोरी कम मात्रा में उपलब्ध होती है।

वर्चुअल मेमोरी जो लोग यूज़ करते है की logical memory को physical memory से अलग करना है और इसे आमतौर पर डिमांड पेजिंग द्वारा कार्यान्वित किया जाता है।

वर्चुअल मेमोरी के कारण प्रोग्रामिंग कार्य आसान हो जाता है। उपयोगकर्ता को बड़ी मात्रा में physical memory उपलब्ध हो जाती है।

वर्चुअल मेमोरी को एक विभाजन प्रणाली में कार्यान्वित किया जा सकता है। वर्चुअल मेमोरी प्रदान करने के लिए डिमांड सेगमेंटेशन का भी उपयोग किया जा सकता है. बरोज़ कंप्यूटर सिस्टम ने मांग विभाजन का उपयोग किया है।

इसके अलावा वर्चुअल मेमोरी मुख्य मेमोरी को एक अत्यंत बड़ी मेमोरी में बदल देती है. उपयोगकर्ता द्वारा देखी गई physical memory से logical memory को अलग करने वाली स्टोरेज की एक समान सरणी हैं।

यह प्रक्रियाओं को आसानी से फ़ाइलें और पता स्थान साझा करने की अनुमति देता है और यह प्रक्रिया निर्माण के लिए एक कुशल तंत्र (efficient mechanism) प्रदान करता है।

अक्सर स्वैपिंग का जो काम हे वो सिस्टम द्वारा किया जाता होगा और प्रोगाम को डिवाइड करने का काम प्रोग्रामर को लेना पड़ता है.बड़े प्रोग्राम को छोटे,मॉडुलर में डिवाइड करने का काम बहुत टाइम लेवा और बोरिंग होता। हर एक काम कंप्यूटर पर डाइवर्ट का रास्ता उसपर विचार करनेको हरेक को टाइम नहीं लगेगा।

व्हर्च्युअल मेमरी की मूल थिंकिंग ऐसी है की प्रोग्राम,डाटा और स्टॅक को एकजुत आकर उसकेलिये जो भी avaliable physical memory उसके प्रमाण से ज्यादा हो सकती हैं।

ऑपरेटिंग सिस्टम प्रोग्राम के वो भाग एक ही समय मे मैं main मेमोरी और रँडम ऍक्सेस मेमरी और बचा हुवा भाग डिस्क पर रखती हैं।

जैसे कि एक उदाहरण है कि 512 MB प्रोग्राम हर एक क्षण मेमोरी में कौनसा 256 MB रखने का है यह धीरे बहुत सेलेक्ट करके256 MB मशीन पर चल सकता है प्रोग्राम के भाग डिस्क पर मीन्स स्टोरेज डिवाइसेस और उसके आवश्यकता अनुसार main मेमोरी बदलावआया जाते हैं.

Virtual Memory Image

Virtual Memory Photo

वर्चुअल मेमोरी का उदाहरण | Example of Virtual Memory in Hindi

1. Cart : जेसी की हम ऑनलाइन शॉपिंग करते हैं तो उसमे अलग-अलग वैराइटीज के हम प्रोडक्ट लेते हैं और जो भी हम प्रोडक्ट लेते हैं तो वह प्रोडक्ट कार्ड में पड़ जाता है तो कार्ट  एक ऐसा माध्यम है जो हमारे हर एक प्रोडक्ट्स और चीजों को रख लेता है.तो यह एक बेस्ट एग्जांपल है वर्चुअल मेमोरी का.

Virtual Memory कैसे काम करती है | How does Virtual Memory Work in Hindi

virtual memory in operating system in hindi

वर्चुअल मेमोरी (virtual memory) कैसे काम करती हैं, यह निचे दिया गया हैं।

  1. सबसे पहले जब आप एक प्रोग्राम (program) चलाते हैं, जैसे कि एक गेम या सॉफ्टवेयर, तो कंप्यूटर उस प्रोग्राम को रैम मेमोरी में लोड करता है। यदि आपके सिस्टम में पर्याप्त मै मेमोरी उपलब्ध नहीं है, तो वर्चुअल मेमोरी काम में आती है।
  2. जब प्रोग्राम अधिक मेमोरी लेता चाहता है जो कि उपलब्ध रैम से अधिक है, तो ऑपरेटिंग सिस्टम पेजिंग टेक्नीक का उपयोग करता है।
  3. इस प्रक्रिया में, सिस्टम रैम मेमोरी से कुछ डेटा को हटाकर हार्ड डिस्क के वर्चुअल मेमोरी में स्थानांतरित करता है।
  4. जब प्रोग्राम को याद किया जाता है, तो सिस्टम फिर से वर्चुअल मेमोरी से डेटा को रैम मेमोरी में लोड करता है और प्रोग्राम को जारी रखता है।

इस प्रकार, वर्चुअल मेमोरी का उपयोग करके, सिस्टम को अधिक मेमोरी का उपयोग करने की क्षमता मिलती है, जिससे बड़े प्रोग्राम्स और प्रक्रियाओं को संचालित किया जा सकता है।

Features of Virtual Memory

यहाँ निचे कुछ विशेषताएँ दिए गए है ध्यान से देखें।

  • मेमोरी के क्षमता में बढ़ोतरी होती है.
  • आसान तरीके से अवलोकन होता है मेमोरी का.
  • बेहतर तरीके से सिस्टम में स्थिरता
  • Memory isolation होता हैं.

वर्चुअल मेमोरी के लाभ | Advantages of Virtual Memory

यहाँ निचे कुछ वर्चुअल मेमोरी के लाभ दिए गए हैं.

  • वर्चुअल मेमोरी (virtual memory) आपके कंप्यूटर को अधिक प्रोग्राम्स को सही तरह से चलाने में मदद करती है।
  • यह बड़े और जटिल प्रोग्राम्स को एक साथ संचालित करने में सहायक होती है।
  • वर्चुअल मेमोरी कम रैम वाले कंप्यूटरों के लिए बहुत उपयुक्त होती है, जिससे वे अधिक प्रोग्राम्स को ठीक से चला सकते हैं और काम को अविरल बना सकते हैं।
  • इसका उपयोग करके कंप्यूटर की एफिशियंसी और प्रदर्शन को सुधारा जा सकता है, जिससे उपयोगकर्ताओं को बेहतर अनुभव मिलता है।
  • वर्चुअल मेमोरी से अतिरिक्त डेटा स्थायी रूप से हार्ड ड्राइव पर स्टोर किया जा सकता है, जिससे सुरक्षितता बढ़ती है और डेटा लॉस की संभावना कम होती है।

Disadvantages of Virtual Memory in Hindi | वर्चुअल मेमोरी के नुकसान

यहाँ निचे कुछ वर्चुअल मेमोरी के नुकसान दिए गए है.

  • वर्चुअल मेमोरी (virtual memory) का उपयोग होने  से कंप्यूटर की स्पीड कम हो सकती है, जिससे आपके कंप्यूटर की काम की गति में थोड़ा सा धीमा परिणाम पड़ सकता है।
  • डेटा को पहुँचने में कुछ देर हो सकती है, जिससे कुछ प्रोग्राम्स या टास्क्स में प्रोसेसिंग मैं थोड़ी देरी हो सकती है।
  • हार्ड डिस्क का अधिक उपयोग होता है जिससे आपके कंप्यूटर की लाइफ में कुछ कमी हो सकती है।
  • अगर किसी कारणवश वर्चुअल मेमोरी में कोई समस्या होती है, तो आपके कंप्यूटर की सुरक्षा पर असर पड़ सकता है जिससे आपका डेटा खतरे में हो सकता है।
  • यदि कंप्यूटर में वर्चुअल मेमोरी में कोई समस्या होती है, तो कुछ प्रोग्राम्स क्रैश हो सकते हैं और आपका डेटा को कई मामूली समस्याओं का सामना कर सकता है।

Difference between virtual memory and Cache Memory in Hindi |वर्चुअल मेमोरी और कैश मेमोरी के बीच अंतर

Virtual memoryCache Memory
वर्चुअल मेमोरी मेन मेमोरी की अक्सेस्सिंग स्पीड बढ़ाने का काम करती हैं।जबकि कैश मेमोरी cpu की अक्सेस्सिंग स्पीड बढ़ाने का काम करती हैं।
वर्चुअल मेमोरी कोई स्टोरेज यूनिट नहीं हैं। यह एक तकनीक हैं.कैश मेमोरी कोई तकनीक नहीं हैं। लेकिन हम इसे एक मेमोरी यूनिट मान सकते है, जैसे की एक स्टोरेज डिवाइस होता हैं।
वर्चुअल मेमोरी बड़े और अधिक संख्या मैं प्रोग्राम्स को अग्रेसर करने में मदद करती है।कैश मेमोरी प्रोसेसर की कार्यक्षमता को बढ़ाने में मदद करती है, क्योंकि यह तेजी से डेटा तक पहुंचने में अग्रेसर रहती है।
वर्चुअल मेमोरी थोड़ी स्लो होती हैं.और साइज मे बड़ी होती हैं।कैश मेमोरी फास्टर होती हैं वर्चुअल मेमोरी के बराबरी मै। ये मेमोरी साइज में छोटी होती हैं।

Paging क्या होता हैं?

सबसे पॉपुलर तकनीक जो सिस्टम में उसका उपयोग होता है उसे हम पेजिंग कहते है,जो हम यहाँ पर उसपर चर्च्या करते हैं। जो हमारी कंप्यूटर सिस्टम होती हे ना वो मेमोरी एड्रेस से भरी पड़ी है उसमे प्रोग्राम execute होते रहते है.जब प्रोग्राम कोई इंस्ट्रक्शन यूज़ करता है जैसे की निचे दिया है।

MOV REG 1020

यह मेमोरी एड्रेस 1020 की कंटेंट को REG में कॉपी करता है। पते विभिन्न तरीकों जैसे इंडेक्सिंग, बेस , रजिस्टर, सेगमेंट रजिस्टर और यहां तक कि कुछ अन्य तरीकों का उपयोग करके उत्पन्न किए जा सकते हैं।

ये एड्रेसेस उन प्रोग्राम्स से उत्पन्न होते है उसे हम वर्चुअल अड्रेस्सेस और वर्चुअल अड्रेस स्पेस कहते हैं. उसके वर्चुअल मेमोरी के आलावा कम्प्यूटर्स वर्चुअल अड्रेस डायरेक्ट मेमोरी बस मै रखा दिया जाता है जो भौतिक मेमोरी एड्रेस पर मैप करता है।

यहां एक उदाहरण दिया गया है जो आपको समझने में आसान होगा। जहां एक कंप्यूटर 0 से 64K तक 16-बिट addresses जेनरेट कर सकता है। जाहिर है ये वर्चुअल एड्रेस हैं. इस कंप्यूटर में केवल 32 KB की physical memory है। इसके कारण हालाँकि 64KB प्रोग्राम उपयोगकर्ता द्वारा लिखे तो जा सकते हैं लेकिन इसे मेमोरी में लोड करके चलाया नहीं जा सकता है।

Frequently Asked Question (FAQ’s)

1) वर्चुअल मेमोरी क्या होती है और कैसे काम करती है?

Answer – वर्चुअल मेमोरी एक प्रकार की मैनेजमेंट डिवाइस है जो सेकेंडरी मेमोरी का एक भाग है होने के कारन उसका इस्तेमाल कर सकते है.वर्चुअल मेमोरी कंप्यूटर के ऑपरेटिंग सिस्टम में इस्तेमाल होने वाला एक यंत्र हैं.वर्चुअल मेमोरी मेन मेमोरी की अक्सेस्सिंग स्पीड बढ़ाने का काम करती हैं।

2) वर्चुअल मेमोरी क्यों जरूरी है?

Answer – कंप्यूटर को बड़े और जटिल कामों के साथ संचालित करने में मदद करती है, जो न केवल आपके पास पर्याप्त रैम होती है।

3) क्या वर्चुअल मेमोरी को अपग्रेड किया जा सकता है?

Answer – हाँ, आप अपने कंप्यूटर की वर्चुअल मेमोरी को अपग्रेड कर सकते हैं। आमतौर पर, इसे अधिक डेटा के लिए अतिरिक्त हार्ड ड्राइव स्पेस का उपयोग करने के लिए उपयोग किया जाता है, लेकिन आप अपने कंप्यूटर में अधिक रैम जोड़कर इसे अपग्रेड कर सकते हैं ताकि कंप्यूटर की काम की क्षमता और प्रदर्शन बेहतर हो सकता हैं।

आपने क्या सीखा | Summary

मुझे आशा है कि मैंने आप लोगों को virtual memory in hindi (virtual memory) इसके बारे में पूरी जानकारी दी और मुझे आशा है कि आप लोगों को virtual memory इसके बारे में समझ आ गया होगा। यदि आपके मन में इस आर्टिकल को लेकर कोई भी संदेह है या आप चाहते हैं कि इसमें कुछ सुधार होनी चाहिए तो इसके लिए आप अपने सुझाव comments पर बता सकते हैं।

आपके ये विचार हमें कुछ सीखने और कुछ सुधारने का मौका देंगे। अगर आपको मेरी यह पोस्ट virtual memory in hindi में पसंद आई या आपने इससे कुछ सीखा है तो कृपया अपनी खुशी और जिज्ञासा दिखाने के लिए इस पोस्ट को सोशल नेटवर्क जैसे फेसबुक, ट्विटर आदि पर शेयर करें।

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